राजनीतिक गलियारों में ख़बर है कि उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव 2022 के अखाड़े में श्री उद्धव ठाकरे की शिवसेना भी मैदान में उतरने का मन बना चुकी है। शिवसेना ने स्पष्ट किया है कि आगामी विधानसभा चुनाव के लिए वह सभी 403 सीटों पर चुनाव लड़ सकती है।
यूपी की सभी विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ने का फैसला शिवसेना की प्रांतीय कार्यकारिणी की बैठक में लिया गया है। बैठक में शिवसेना के नेताओं ने योगी सरकार पर यह आरोप भी लगाया कि “भाजपा सरकार के शासन में उत्तर प्रदेश की कानून व्यवस्था पूरी तरह फेल हो गई है। प्रदेश में बहन-बेटियां कोई भी सुरक्षित नहीं हैं। बेरोजगारी और महंगाई से जनता त्रस्त है।”
इस बयान को सुनकर बड़े-बूढों की एक कहावत याद आ गई- “छाज बोले सो बोले, छलनी बोले जिसमें 72 छेद।”
योगी सरकार पर उंगली उठाने से पहले शिवसेना को यह भी ज्ञात होना चाहिए कि जब आप किसी दूसरे के ऊपर एक उंगली उठाते हैं तो बदले में तीन उंगलियां आपकी तरफ़ भी ईशारा करती हैं।
शिवसेना का यह कहना है कि उत्तरप्रदेश में कानून व्यवस्था पूरी तरह फेल हो गई है। अब ज़रा शिवसेना यह बताने का कष्ट करे कि महाराष्ट्र के पालघर के गढ़चिंचले गांव में 16 अप्रैल को हुई साधुओं की मॉबलिंचिंग का वीडिया ख़ूब वायरल हुआ था. जिसमें साफ दिखाया गया था कि भीड़ ने तीन लोगों की पीट-पीट कर हत्या कर दी जिसमें दो साधुओं की पहचान 70 साल के महाराज कल्पवृक्षगिरी, 35 साल के सुशील गिरी महाराज और एक उनके ड्राइवर नीलेश तेलगाने के तौर पर गई थी। यहां यह उल्लेखनीय है कि इस निर्मम हत्याकांड के समय महाराष्ट्र पुलिस मौके पर तमाशबीन बनी हुई थी। अभी हाल ही में एक केंद्रीय मंत्री के बयान पर शिवसैनिकों ने जिस प्रकार से सड़कों पर तोड़फोड़ और उपद्रव मचाया वह किसी से छुपा हुआ नहीं है। एक उभरते हुए कलाकार सुशांत सिंह की हत्या और फ़िल्म अभिनेत्री कंगना रनौत के कार्यालय में तोड़फोड़ किसने नहीं देखी। शिवसैनिकों की गुंडागर्दी से पूरा महाराष्ट्र त्राहिमाम-त्राहिमाम करता है और यह बात स्वयं श्री उद्धव ठाकरे भी अच्छी तरह से जानते हैं। लेकिन उसके बावजूद उनके मुंह से शब्द नहीं निकलते।
शिवसेना का यह भी कहना है कि “उत्तरप्रदेश में बहन-बेटियां सुरक्षित नहीं हैं।” अभी हाल ही में
बीते शुक्रवार (9 सितंबर) को एक महिला साकीनाका के ख़ैरानी रोड इलाक़े में बेहोशी की हालत में मिली थी। पुलिस ने उसे अस्पताल पहुंचाया। पुलिस ने बताया था कि पीड़िता की हालत नाज़ुक थी। मीडिया सूत्रों के हवाले से ख़बर मिली कि पीड़िता के साथ बलात्कार किया गया था और बलात्कारियों ने हैवानियत की सारी हदों को पार करते हुए महिला के गुप्तांग में रॉड डाली थी. यह ठीक वैसा ही है जैसा कि “निर्भया” के साथ हुआ था। लेकिन इस जघन्य अपराध के पश्चात भी ठाकरे सरकार को महाराष्ट्र में बहन-बेटियां सुरक्षित दिखाई देती हैं।
शिवसेना प्रमुख माननीय उद्धव भाई ठाकरे को यह भली प्रकार ज्ञात होना चाहिए कि यह उत्तरप्रदेश है। यहाँ कि जनता अपने हर प्रश्न का उत्तर “तर्क” से लेती है, “तलवार” से नहीं।
उत्तरप्रदेश में योगीराज चलता है, गुंडाराज नहीं चलता।
🖋️ *मनोज चतुर्वेदी “शास्त्री”*
समाचार सम्पादक- उगता भारत हिंदी समाचार-
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